साई व्हाइब्रियोनिक्स पत्रिका

" जब आप किसी हतोत्साहित, निराष या रोग ग्रस्त व्यक्ति को देखते हो, वहीं आपका सेवा क्षेत्र है " Sri Sathya Sai Baba
Hands Reaching Out

दैवीय चिकित्सक का सन्देश

Vol 11 अंक 3
मई-जून 2020


“जब कभी भी गंदगी होती है और वातावरण गंदा होता है वहां पर खराब जीवाणु भी होते हैं । जहां वातावरण साफ होता है वहां के जीवाणु भी अच्छे होते हैं। जब हम गंदी जगह का स्पर्श करते हैं यह पूरी संभावना रहती है कि खराब जीवाणु हमारे शरीर में प्रवेश कर जाएं और हमें बीमार कर दे। इसी प्रकार गंदा और अपवित्र शरीर भी हमें प्रदूषित कर सकता है। एक शरीर और दूसरा इसमें चुंबकों की तरह कार्य करते हैं। इसलिए जो लोग साधना के पथ के राहगीर होते हैं वे अपवित्र और गंदे वातावरण से दूर रहते हैं। इसी संदर्भ में हमारे पुरखों ने हमें सदैव पवित्र और बड़े लोगों के पैरों को छूने का संदेश दिया है। क्योंकि उनके पैरों का स्पर्श करने से उनके शरीर की पवित्रता हमारे अंदर प्रवेश कर जाती है। इसी प्रकार यदि तुम अपवित्र लोगों के संपर्क में रहते हो तो उसकी अपवित्रता तुम में प्रवेश कर जाती है।”

... Sathya Sai Baba, Good Health is Man’s Greatest Wealth,  Summer Showers June 1978 http://www.sssbpt.info/summershowers/ss1978/ss1978-28.pdf

 

“समाज को सेवा प्रदान करने के लिए हर संभव अवसर का लाभ उठाएं। सेवा की आवश्यकता व्यक्तियों तक ही सीमित नहीं है। राष्ट्रीय सेवा करना महत्वपूर्ण है। आपको यह जानने की जरूरत नहीं है कि किस प्रकार की सेवा की जानी चाहिए जब भी आपको लगे कि किसी को भी मदद की जरूरत है, तो उसे  सेवा प्रदान  करें । अमीर या गरीब या योग्य और अवांछनीय के बीच अंतर न करें। स्थिति की जरूरतों के अनुसार सेवा प्रदान करें।"

... Sathya Sai Baba, “The Spirit Of Service” Discourse 21 November 1988 http://www.sssbpt.info/ssspeaks/volume21/sss21-31.pdf